मेरा मन कुछ कहता है,
निरंतर मष्तिष्क को झंझोड़ता है,
विचारों के मंथन से नए विचार आते हैं ,
उनकी अभिव्यक्ती कर रहा हूँ,
आवश्यक नहीं है कि पाठक मेरे विचारों से सहमत हो(सर्वाधिकार सुरक्षित )
Thursday, August 1, 2013
"निरंतर" की कलम से.....: पलाश का पेड़
"निरंतर" की कलम से.....: पलाश का पेड़: केसरिया रंग के फूलों से लदा पलाश का पेड़ जंगल में आग का आभास देता हरे पेड़ों के बीच जंगल का राजा नज़र आता ना उसके फूलों को मा...
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